लोकसभा चुनाव 2024 के चलते,प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खुद ही अपने हाथ में कमान संभाल रखी है l एक के बाद एक रोड शो लगातार,मोदी कर रहे हैं lइसी क्रम में मोदी बनारस पहुंचे थे और अपने संसदीय क्षेत्र से रोड शो करने के बाद,उन्होंने बीजेपी की वाराणसी इकाई को,तमाम गुरु मंत्र भी दिए l लेकिन इन गुरु मंत्रथ्रो में मोदी के दिल में पुराने नेताओं के,पार्टी से दूरी बनाने की टीस भी नजर आई l आखिर मोदी अंदर ही अंदर पार्टी के पुराने नेताओं को लेकर,चिंता क्यों कर रहे हैं और चिंता के पीछे कौन सी टेंशन मोदी को दिल ही दिल सता रही है l आज इंडिया जंक्शन अपनी रिपोर्ट में इस बात का खुलासा करेगा,कि इस इलेक्शन में मोदी को संगठन में कौन सी ऐसी कमी नजर आई ?जिसको लेकर मोदी सक्रिय हो गए हैं l दरअसल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का अयोध्या से चुनाव लड़ना तय माना जा रहा था,लेकिन मोदी ने तीसरी बार फिर से वाराणसी को ही चुना l बाबा भोले की नगरी से आखिर मोदी क्यों चुनाव लड़ना चाहते हैं ?इस मंशा के पीछे की भी वजह,दरअसल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने,अपने इस दौरे में पार्टी के जिला और महानगर के चयनित पदाधिकारियों से पहले तो मुलाकात की l इस दौरान उन्होंने संगठन को आइना दिखाया l
इशारे-इशारे में उनकी नाकामियों को भी बताया l कहा, धरातल पर रह कर काम करें l केवल पार्टी की बड़ी सभाओं के आसरे न रहें l प्रधानमंत्री ने काशी दौरे के दूसरे दिन रविवार की सुबह भाजपा जिला और महानगर कमेटी के लगभग,25 पदाधिकारियों को बरेका स्थित गेस्ट हाउस में बुलाया था l पार्टी सूत्रों का कहना है,कि उन्होंने कहा कि काशी में योजनाओं से लोगों का जीवन सरल हुआ है l इसलिए आपको वोट मांगने का भी अधिकार है l कुल मिलाकर उनका इशारा था,कि उन्होंने काशी के विकास, विस्तार, सुगमता जैसी सैकड़ों परियोजनाओं के नाम पर,हजारों करोड़ की सहायता दी है l 2014 के पहले की काशी और आज की काशी में जमीन आसमान का अंतर है l आज काशी अपनी भव्यता के लिए जानी जा रही है l इस सब के बावजूद,वह पांच लाख वोट से जीत के अंतर का आंकड़ा पार नहीं हुआ l सूत्रों का कहना है,कि यह कहीं न कहीं संगठन की कमी की ओर मोदी का खुलकर इशारा था l उन्होंने कहा,कि जनता से जुड़ने वाले अभियान माइक्रो डोनेशन,टोपी वितरण,गांव चलो,मोदी की गारंटी जैसी योजनाओं को जनता तक पहुंचाने के लिए अपने प्रयासों को ईमानदारी से और तेज करें l प्रत्येक बूथ पर 11 लोगों की समिति और प्रमुख संग बैठक करें l
बूथ पर रहने वाले की-वोटर की सूची तैयार कर संपर्क करें l लाभार्थी संपर्क अभियान में तेजी लाएं l जनसंघ और भाजपा के वरिष्ठ कार्यकर्ताओं से बूथ स्तर तक के अनुभव लें l मोदी ने अपने दिल की बात,भी सभी के सामने रखी l दरअसल प्रधानमंत्री को पुराने लोगों के पार्टी से कटने का आभास वाराणसी मे हो रहा है l मोदी ने अपने पिछले काशी आगमन पर,पूर्व मंडल प्रमुखों से भी मुलाकात की थी,उन्हें पार्टी के साथ लगने का संदेश दिया था l इस बार भी वह पूर्व जनप्रतिनिधियों से मिले l यह सब उस दिशा में काम है,कि भाजपा के पुराने लोगों ने पार्टी से दूरी बना ली है,वे उपेक्षित महसूस कर रहे हैं l इस बीच बातों ही बातों में,मोदी ने खुद ब खुद संगठन की कमी की ओर इशारा किया l मतलब साफ है,कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का यह दौरा,जहां लोकसभा चुनाव 2024 में मोदी सरकार की गारंटी,जैसे मुद्दों का प्रचार करना था,तो वही संगठनआत्मक कमियो और पार्टी के पुराने नेताओं का पार्टी से दूरी बनाना भी,मोदी को अंदर ही अंदर अब सता भी रहा है lऐसे में वाराणसी की सीट को लेकर,मोदी किसी भी तरह की हीला हवाली नहीं करना चाहते l शायद यही वजह है,कि मोदी अब संगठन को मजबूत करने में भी लग गए हैं