लोकसभा चुनाव 2024 के नतीजे घोषित होने के बाद अब सरकार बनाने की कवायद शुरू हो गई है. बीजेपी की अगुवाई वाली एनडीए सरकार में मंत्रिमंडल कैसा होगा इसपर सबकी नजरें हैं. नजरें इसपर भी हैं उत्तर प्रदेश में खराब प्रदर्शन के बाद बीजेपी/एनडीए कोटे से किन लोगों को मोदी कैबिनेट में जगह मिलेगी और किनकी छुट्टी होगी. नई कैबिनेट गठन में ब्राह्मण, दलित, ओबीसी को साधने की भी कोशिश होगी. ऐसे में आइए जानते हैं मोदी 3.0 कैबिनेट में यूपी से कौन से चेहरे मंत्री बन सकते हैं…?
गौरतलब है कि 2019 में सहयोगी दलों के साथ मिलकर बीजेपी ने यूपी से 64 लोकसभा सीटें जीती थीं. इसी वजह से केंद्रीय मंत्रिमंडल में प्रतिनिधित्व देते हुए प्रधानमंत्री समेत 14 मंत्री बनाए गए थे, जबकि इस बार ये आंकड़ा 36 (बीजेपी 33 + RLD 2 + अपना दल-एस 1) पर ही सिमट गया है. ऐसे में ये तय माना जा रहा है कि उत्तर प्रदेश से मंत्रियों की संख्या कम होगी.
मौजूदा हालतों को देखते हुए अपना दल (एस) की अनुप्रिया पटेल का तीसरी बार मंत्री बनना तय है, जबकि RLD प्रमुख जयंत चौधरी भी यूपी के कोटे और सहयोगी दल के मुखिया होने के नाते केंद्र में मंत्री बन सकते हैं. इसके अलावा NDA का कोई अन्य सहयोगी (ओपी राजभर- संजय निषाद) एक भी सीट नहीं जीत सका है. इसलिए बीजेपी को अपने कोटे से उन्हें मंत्री पद देना पड़ सकता है. वहीं, जातीय समीकरण बनाने के लिए पुराने मंत्रियों (चुनाव हारने वाले) की जगह उनकी ही जाति के नए चेहरों को जगह दी जा सकती है.
ब्राह्मण चेहरे के तौर पर इनके नाम
गौरतलब है कि मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल में महेंद्रनाथ पांडे (हार), अजय मिश्रा टेनी (हार) ब्राह्मण चेहरा थे. ऐसे में उनकी जगह कम से कम एक ब्राह्मण मंत्री यूपी से जरूर होगा. संभावना है कि योगी सरकार में मंत्री जितिन प्रसाद को केंद्र में मौका मिल जाए. जितिन ने पीलीभीत से चुनाव जीता है.इसके अलावा राज्यसभा सांसद और पूर्व डिप्टी सीएम डॉ. दिनेश शर्मा या पूर्व मंत्री महेश शर्मा को भी मोदी मंत्रिमंडल में जगह मिल सकती है. यूपी के सीनियर बीजेपी लीडर लक्ष्मीकांत वाजपेयी का नाम भी इस लिस्ट में शामिल हो सकता है.
दलित समुदाय से कौन?
उत्तर प्रदेश से कम से कम दो दलित समाज के मंत्री बनाए जा सकते हैं. आगरा से चुनाव जीते एसपी सिंह बघेल के अनुभव को देखते हुए उनको मोदी कैबिनेट में मौका मिला सकता है, तो वहीं हाथरस से चुनाव जीते अनूप वाल्मीकि को भी जगह मिल सकती है.
ओबीसी फैक्टर को साधने की कोशिश
ओबीसी फैक्टर का ध्यान भी मोदी 3.0 सरकार बनाते समय रखना होगा. लिहाजा बुलंदशहर से चुनाव जीते भोला सिंह, महराजगंज से चुनाव जीते पंकज चौधरी और बरेली से चुनाव जीते छत्रपाल गंगवार में से किसी को मंत्री बनाया जा सकता है.पिछली सरकार में महिला मंत्रियों में स्मृति ईरानी, साध्वी निरंजन ज्योति और अपना दल की अनुप्रिया पटेल थीं, लेकिन इस बार सिर्फ दो महिलाएं यूपी से चुनकर संसद पहुंची हैं- अनुप्रिया पटेल और हेमा मालिनी. इसलिए अनुप्रिया पटेल का मंत्री बनना तय माना जा रहा है, जबकि युवा चेहरे के तौर पर शाहजहांपुर से चुनाव जीतकर आए अरुण सागर को भी मोदी कैबिनेट में जगह मिल सकती है.
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